बुद्धादित्य योग (शिक्षा का स्तर) **************************** प्रचलित सामान्य ज्योतिषीय मान्यता है कि यदि जन्म या लग्न कुंडली में सूर्य और बुध एक साथ हो तो "बुद्धादित्य योग" बनता है, जो जातक को अच्छी शिक्षा प्राप्ति में सहायक होता है...! लेकिन सामान्यतः यह देखा गया है कि सूर्य और बुध कुंडली में एक ही साथ होते हैं फिर भी व्यक्ति को अच्छी शिक्षा नहीं मिल पाती है क्योंकि इसके अनेकों ज्योतिषीय कारण हैं जैसे :- 1. यदि बुध, सूर्य से अस्त अवस्था में हो 2. यदि बुध नीच अर्थात मीन राशि में हो 3. यदि बुध वक्री अवस्था में हो 4. यदि बुध शत्रु राशि में हो 5. यदि यह योग केंद्र या पंचम भाव में ना बन रहे हों 6. यदि इनकी भूमिका बाधक या मारक घर की हो 7. इसके अतिरिक्त और भी कई कारण होते हैं जैसे महादशा और अन्तर्दशा एवं गोचर इत्यादि यदि किशोर अवस्था या समय रहते ही किसी ज्ञानी और अनुभवी ज्योतिषी से इस विषय में परामर्श प्राप्त कर लिया जाय तो निश्चित रूप से जीवन में शिक्षा से सम्बंधित स्पष्ट दिशा मिल सकती है, लेकिन सामान्यतः ऐसा नहीं होता है और लोग इस योग का लाभ समय से नहीं ले पाते हैं..! इस सम्बन्ध में समय रहते बुद्धि एवं विवेक का सही इस्तेमाल ही कोई भी सुखद परिणाम दे सकता है...! 🙏🌹🌹🙏 अग्रिम शुभकामनायें ...! सुभाष वर्मा ज्योतिषाचार्य ज्योतिषाचार्य, नामशास्त्री, रंगशास्त्री, अंकशास्त्री, वास्तुशास्त्री, कुंडली, मुहूर्त ----------------------------- www.astroshakti.in [email protected] www.facebook.com/astroshakti